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जटिल समानता (Complex Equality)

कॉम्प्लेक्स इक्विटी: एक विस्तृत विश्लेषण

कॉम्प्लेक्स इक्विटी (Complex Equality) का सिद्धांत माइकल वाल्ज़र द्वारा उनके 1983 के काम Spheres of Justice में प्रस्तुत किया गया है। यह सिद्धांत न्याय की एक नई समझ प्रदान करता है, जो विभिन्न सामाजिक क्षेत्रों में वस्तुओं के वितरण के लिए अलग-अलग सिद्धांतों की आवश्यकता को स्वीकार करता है। आइए इस सिद्धांत के मुख्य पहलुओं, आलोचनाओं और प्रासंगिकता को विस्तार से समझते हैं।

         

जटिल समानता न्याय का एक सिद्धांत है जिसे माइकल वाल्ज़र ने 1983 में अपने काम स्फीयर्स ऑफ़ जस्टिस में रेखांकित किया था । इसे वितरण की व्यापक अवधारणा पर जोर देने के कारण अभिनव माना जाता है, जो न केवल मूर्त वस्तुओं को बल्कि अधिकारों जैसे अमूर्त वस्तुओं को भी कवर करता है। यह सिद्धांत सरल समानता से अलग है क्योंकि यह सामाजिक वस्तुओं में कुछ असमानताओं की अनुमति देता है । 

        

मुख्य अवधारणाएँ

  1. कई क्षेत्र (Multiple Spheres):
    • वाल्ज़र का तर्क है कि समाज में विभिन्न क्षेत्र होते हैं, जैसे राजनीतिक, आर्थिक, और सांस्कृतिक क्षेत्र। प्रत्येक क्षेत्र में वस्तुओं का वितरण अलग-अलग मानदंडों के अनुसार होना चाहिए।
    • उदाहरण: शिक्षा में बुनियादी स्तर पर सार्वभौमिकता हो सकती है, जबकि उच्च स्तर पर निजीकरण हो सकता है।
  2. गैर-हस्तक्षेप (Non-Interference):
    • कॉम्प्लेक्स इक्विटी का सिद्धांत यह कहता है कि एक क्षेत्र में किसी व्यक्ति के पास जो लाभ हैं, उन्हें अन्य क्षेत्रों में लाभ प्राप्त करने के लिए उपयोग नहीं किया जाना चाहिए।
    • उदाहरण: यदि कोई व्यक्ति चुनाव जीतता है, तो उसे राजनीतिक क्षेत्र में लाभ मिलता है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं होना चाहिए कि वह अपने राजनीतिक प्रभाव का उपयोग अन्य क्षेत्रों (जैसे आर्थिक या सामाजिक) में लाभ प्राप्त करने के लिए करे।
  3. सामाजिक वस्तुएँ (Social Goods):
    • वाल्ज़र का कहना है कि वस्तुएँ स्वाभाविक रूप से समान या असमान नहीं होतीं; उनका मूल्य उनके सामाजिक संदर्भ पर निर्भर करता है।
    • इसलिए, न्याय की चर्चा करते समय हमें यह देखना चाहिए कि वस्तुओं का मूल्य कैसे और क्यों निर्धारित किया जाता है।
  4. विभिन्न वितरण सिद्धांत (Different Distribution Principles):
    • विभिन्न क्षेत्रों में वस्तुओं के वितरण के लिए अलग-अलग सिद्धांतों की आवश्यकता होती है। उदाहरण के लिए, स्वास्थ्य सेवा और शिक्षा को अलग-अलग मानदंडों पर वितरित किया जाना चाहिए।

महत्वपूर्ण पुस्तकें

  • “Spheres of Justice” by Michael Walzer
    • इस पुस्तक में वाल्ज़र ने कॉम्प्लेक्स इक्विटी का विस्तृत विवरण दिया है और विभिन्न सामाजिक क्षेत्रों में न्याय के वितरण के सिद्धांतों की चर्चा की है।
  • “Against ‘Complex’ Equality” by Richard Arneson
    • इस पुस्तक में अरनेसन ने कॉम्प्लेक्स इक्विटी की आलोचना की है और इसे पर्याप्त समानतावादी नहीं माना है।

आलोचनाएँ

  1. गैरी कोहेन की आलोचना:
    • कोहेन ने तर्क किया कि कॉम्प्लेक्स इक्विटी असमानताओं को स्वीकार करता है यदि वे अपने संबंधित क्षेत्रों में स्वीकार्य मानी जाती हैं। उन्होंने कहा कि किसी भी प्रकार की असमानता को उसके नैतिक प्रभावों के लिए जांचा जाना चाहिए।
  2. अमर्त्य सेन का दृष्टिकोण:
    • सेन ने कहा कि यह सिद्धांत केवल संस्थागत व्यवस्थाओं पर ध्यान केंद्रित करता है और व्यक्तिगत क्षमताओं और वास्तविक दुनिया की अन्यायों को नजरअंदाज करता है।
  3. माइकल सैंडेल की चिंताएँ:
    • सैंडेल ने सवाल उठाया कि यह सिद्धांत नैतिक मूल्यों और व्यक्तिगत पहचानों को कैसे संबोधित करता है।
  4. रॉबर्ट नोज़िक का लिबर्टेरियन दृष्टिकोण:
    • नोज़िक ने कहा कि किसी भी प्रकार की पुनर्वितरण या व्यक्तिगत धन में हस्तक्षेप व्यक्तिगत अधिकारों का उल्लंघन करता है।

समकालीन प्रासंगिकता

  • नीति विकास (Policy Development): कॉम्प्लेक्स इक्विटी नीति निर्माण में महत्वपूर्ण प्रभाव डालती है, यह सुझाव देते हुए कि नीतियाँ विभिन्न सामाजिक वस्तुओं की विशेषताओं का सम्मान करने के लिए तैयार की जानी चाहिए।
  • सामाजिक न्याय आंदोलनों (Social Justice Movements): यह सिद्धांत समकालीन सामाजिक न्याय आंदोलनों को सूचित करता है, जो इस बात पर जोर देता है कि नीतियों को विशेष संदर्भों में असमानताओं को संबोधित करने पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए।
  • वैश्वीकरण और न्याय (Globalization and Justice): एक बढ़ते हुए वैश्वीकृत संसार में, यह प्रश्न उठता है कि विभिन्न समाज अपने अद्वितीय मूल्यों को कैसे समेट सकते हैं जबकि वैश्विक शासन और सहयोग में संलग्न रहते हैं।

महत्वपूर्ण उद्धरण

  • “In formal terms, complex equality means that no citizen’s standing in one sphere or with regard to one social good can be undercut by his standing in some other sphere.” — Michael Walzer

कॉम्प्लेक्स इक्विटी राजनीतिक सिद्धांत में न्याय समझने के लिए एक जटिल ढांचा प्रदान करती है। यह विभिन्न सामाजिक वस्तुओं और उनके वितरण को पहचानती है और इस बात पर जोर देती है कि विभिन्न क्षेत्रों में न्याय सुनिश्चित करने के लिए अलग-अलग मानदंडों की आवश्यकता होती है। इस सिद्धांत की आलोचनाएँ इसे अधिक गहनता से समझने और समकालीन मुद्दों पर विचार करने के लिए प्रेरित करती हैं।यह विस्तृत विश्लेषण कॉम्प्लेक्स इक्विटी को राजनीतिक सिद्धांत के व्यापक संवाद में स्थान देता है, इसके महत्व और आधुनिक सामाजिक जटिलताओं से निपटने में इसकी चुनौतियों को उजागर करता है।

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