विश्व के नेता मिस्र (Egypt) के शहर शर्म अल–शेख में ‘समिट फॉर पीस (Summit for Peace)’ में एकत्र हुए हैं। इस सम्मेलन की अगुवाई अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप कर रहे हैं। इस बैठक का उद्देश्य दो वर्ष से चल रहे गाजा संघर्ष (Gaza Conflict) को समाप्त करना और मध्य पूर्व (Middle East) में स्थिरता बहाल करना है।
शर्म अल–शेख: स्थान और महत्व
- स्थान: शर्म अल-शेख मिस्र के सिनाई प्रायद्वीप (Sinai Peninsula) के दक्षिणी सिरे पर स्थित है,
रेड सी (Red Sea) के किनारे, गल्फ ऑफ अकाबा (Gulf of Aqaba) के मुहाने पर स्ट्रेट ऑफ तिरान (Strait of Tiran) को निहारता है। - रणनीतिक महत्व: स्ट्रेट ऑफ तिरान, रेड सी और गल्फ ऑफ अकाबा को जोड़ने वाला एक महत्वपूर्ण समुद्री मार्ग (vital maritime route) है, यह इज़राइल के लिए हिंद महासागर तक पहुंचने का एकमात्र रास्ता है।
- ऐतिहासिक पृष्ठभूमि: मूल रूप से यह एक मछुआरों का गाँव था, जो बाद में मिस्र की नौसेना के एक सामरिक ठिकाने में बदल गया।
- 1967 के सिक्स–डे वॉर (छह-दिवसीय युद्ध) के दौरान इज़राइल ने इस क्षेत्र पर कब्जा किया,
जिसे कैम्प डेविड समझौते (Camp David Accords) के बाद 1982 में मिस्र को लौटा दिया गया। - उसी वर्ष, मिस्र के राष्ट्रपति होस्नी मुबारक ने इसे ‘सिटी ऑफ पीस’ (City of Peace) घोषित किया, और अंतरराष्ट्रीय निवेश व पर्यटन को बढ़ावा दिया।
- 1967 के सिक्स–डे वॉर (छह-दिवसीय युद्ध) के दौरान इज़राइल ने इस क्षेत्र पर कब्जा किया,
शर्म अल–शेख: एक कूटनीतिक केंद्र के रूप में
शर्म अल-शेख अब वैश्विक कूटनीति का एक प्रमुख केंद्र (major diplomatic hub) बन चुका है।
यहाँ कई महत्वपूर्ण शांति वार्ताएँ और अंतरराष्ट्रीय शिखर सम्मेलन आयोजित किए गए हैं:
- इज़राइल–फिलिस्तीन शांति वार्ता (1999)
- पहला यूरोपीय संघ–अरब लीग शिखर सम्मेलन (2019)
- संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन सम्मेलन – COP27 (2022):
इस सम्मेलन में ‘लॉस एंड डैमेज फंड’ (Loss and Damage Fund) की स्थापना की गई थी,
जो जलवायु परिवर्तन से प्रभावित देशों की सहायता के लिए है। - समिट फॉर पीस (2025):
वर्तमान बैठक, जिसका लक्ष्य गाजा संघर्ष को समाप्त करना और शांति बहाल करना है।
सम्मेलन के उद्देश्य
- दो साल से चल रहे गाजा युद्ध को समाप्त करना
- युद्धविराम (ceasefire) और बंधक रिहाई समझौते को स्थायी बनाना
- ट्रंप की 20-सूत्रीय शांति योजना (20-point peace plan) के अगले चरणों पर चर्चा
अन्य प्रमुख नेता जो शामिल है:
- 🇫🇷 फ्रांस के राष्ट्रपति — इमैनुएल मैक्रों
- 🇹🇷 तुर्की के राष्ट्रपति — रेसेप तैयप एर्दोगान
- 🇬🇧 ब्रिटेन के प्रधानमंत्री — कियर स्टार्मर
- 🇪🇸 स्पेन के प्रधानमंत्री — पेद्रो सांचेज़
- 🇮🇹 इटली की प्रधानमंत्री — जॉर्जिया मेलोनी
- 🇪🇺 यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष — एंटोनियो कोस्टा
- 🇺🇳 संयुक्त राष्ट्र महासचिव — एंटोनियो गुटेरेस
- 🇪🇬 अरब लीग महासचिव — अहमद अबुल ग़ैत
- 🇯🇴 जॉर्डन के राजा — अब्दुल्ला द्वितीय
- 🇰🇼 कुवैत के प्रधानमंत्री — अहमद अल अब्दुल्ला अल सबाह
- 🇧🇭 बहरीन के राजा — हामद बिन ईसा अल खलीफा
- 🇮🇩 इंडोनेशिया के राष्ट्रपति — प्राबोवो सुबियांतो
- 🇦🇿 अज़रबैजान के राष्ट्रपति — इल्हाम अलीयेव
- 🇩🇪 जर्मनी के चांसलर — फ्रीडरिख मर्ज़
- 🇳🇱 नीदरलैंड्स के प्रधानमंत्री — डिक स्कोफ
- 🇬🇷 ग्रीस के प्रधानमंत्री — किरियाकोस मित्सोताकिस
- 🇦🇲 आर्मेनिया के प्रधानमंत्री — निकोल पशिनियन
- 🇭🇺 हंगरी के प्रधानमंत्री — विक्टर ऑर्बन
- 🇵🇰 पाकिस्तान के प्रधानमंत्री — शहबाज शरीफ
- 🇨🇦 कनाडा के प्रधानमंत्री — मार्क कार्नी
- 🇳🇴 नॉर्वे के प्रधानमंत्री — जोनास गहर स्टोरे
- 🇮🇶 इराक के प्रधानमंत्री — मोहम्मद शिया अल–सुदानी
मुख्य चल रहे संघर्ष (2025 तक)
- इज़राइल–हमास युद्ध (गाजा संघर्ष)
- दो साल से जारी हिंसा ने भारी जनहानि और मानवीय संकट पैदा किया है।
- मिस्र और अमेरिका की मध्यस्थता से युद्धविराम की कोशिशें जारी हैं।
- रूस–यूक्रेन युद्ध (2022–वर्तमान)
- संघर्ष का केंद्र अब भी पूर्वी यूक्रेन है।
- रूस पर पश्चिमी देशों के प्रतिबंध और यूक्रेन को निरंतर सैन्य सहायता जारी है।
- यमन संघर्ष (2014–वर्तमान)
- हूती विद्रोहियों और सऊदी समर्थित सरकार के बीच युद्ध।
- देश भुखमरी और मानवीय आपदा से जूझ रहा है।
- सूडान गृहयुद्ध (2023–वर्तमान)
- सेना और अर्धसैनिक बल RSF के बीच संघर्ष ने लाखों लोगों को विस्थापित किया है।
- सिरिया संघर्ष (2011–वर्तमान)
- सरकार, विद्रोही गुटों और विदेशी शक्तियों के बीच संघर्ष अब भी पूरी तरह खत्म नहीं हुआ है।
- म्यांमार (बर्मा) संघर्ष (2021–वर्तमान)
- सैन्य तख्तापलट के बाद देशभर में सशस्त्र विद्रोह और नागरिक प्रतिरोध जारी है।
- इथियोपिया (टिग्रे क्षेत्र) संघर्ष
- शांति समझौते के बावजूद तनाव अब भी कायम है।
- हैती में गिरोह हिंसा (Gang Violence)
- सरकार के पतन के बाद गिरोहों ने राजधानी पर नियंत्रण कर लिया है।
- साहेल क्षेत्र (माली, बुर्किना फासो, नाइजर)
- चरमपंथी समूहों और सैन्य सरकारों के बीच संघर्ष लगातार बढ़ रहा है।
- कांगो (DRC) में सशस्त्र संघर्ष
- पूर्वी क्षेत्र में विद्रोही गुटों की झड़पें अब भी जारी हैं।
युद्धों और सशस्त्र संघर्ष का परिणाम
- दुनिया में इस समय 50 से अधिक सक्रिय संघर्ष किसी न किसी रूप में चल रहे हैं।
- संयुक्त राष्ट्र के अनुसार, इनसे 10 करोड़ से अधिक लोग विस्थापित हो चुके हैं।
- युद्धों का सीधा असर ऊर्जा कीमतों, खाद्य आपूर्ति और वैश्विक शांति पर पड़ रहा है।
- पश्चिम एशिया (Middle East) और पूर्वी यूरोप वर्तमान में सबसे अस्थिर क्षेत्र हैं।
क प्रमुख पर्यटन स्थल है, बल्कि यह अब वैश्विक शांति और कूटनीति का प्रतीक शहर बन चुका है। परन्तु आधुनिक दुनिया अब भी “स्थायी युद्ध की अवस्था” में है जहाँ शांति समझौते अस्थायी हैं और नई भू-राजनीतिक प्रतिस्पर्धाएँ लगातार उभर रही हैं।
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